रोज़नामचा: हिंदी के अख़बारों में आज एक ही सुर्खी- टनल खुली, जिंदगी खिली
हिंदी के ज्यादातर प्रमुख अख़बारों ने आज एक ही ख़बर को पहली सुर्खी बनाया है. उत्तराखंड की सुरंग में दिवाली के दिन से फंसे मजदूरों को सुरक्षित बाहर निकाल लिए जाने को सभी अख़बारों ने पहले पन्ने पर जगह दी है.
आइए आज के प्रमुख अख़बारों की अन्य सुर्खियों पर भी एक नज़र डालते हैं. लेकिन उससे पहले अगर आप रोज़नामचा को अपने ई-मेल पर पाना चाहते हैं तो यहां क्लिक करें.
हिंदुस्तान की पहली ख़बर का शीर्षक है- ‘मौत के मुंह से सभी 41 श्रमिकों की वापसी’. ख़बर के मुताबिक, 17 दिनों की लंबी जद्दोजहद के बाद सभी श्रमिकों को बचा लिया गया. वहीं, मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने सभी श्रमिकों को 1-1 लाख रुपये की आर्थिक सहायता दी जाएगी.
दिल्ली के मुख्य सचिव का कार्यकाल बढ़ाए जाने पर सुप्रीम कोर्ट द्वारा सख्ती दिखाए जाने को भी अख़बार ने प्रमुखता से प्रकाशित किया है. ख़बर के मुताबिक, सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र से पूछा कि क्या उनके पास कोई और अधिकारी नहीं है? शीर्ष अदालत ने केंद्र से यह सवाल तब किया जब केंद्र ने अदालत को बताया कि वह मुख्य सचिव के कार्यकाल विस्तार पर विचार कर रही है.
इसके अलावा दिल्ली में वायु की गुणवत्ता में सुधार होने पर डीजल वाहनों और निर्माण पर लगी रोक हटी, सु्प्रीम कोर्ट ने कहा कि पाठ्यक्रम तय करना सरकार का काम और आतंकी फंडिंग करने वालों पर 24 घंटों में लगेगी रोक आदि ख़बरों को भी अख़बार ने पहले पन्ने पर जगह दी है.
दैनिक जागरण अख़बार की पहली ख़बर का शीर्षक है- ‘जीत गई जिंदगी’. ख़बर के मुताबिक, देश-दुनिया के करोड़ों लोगों को जिस घड़ी का इंतजार था, वह मंगलवार को आई और सुरंग में फंसे 41 मजदूरों को सुरक्षित बाहर निकाल लिया गया. मजदूरों को निकालने के लिए 400 घंटों से ज्यादा चले बचाव अभियान में 20 से ज्यादा एजेंसियों ने योगदान दिया.
आतंकवादियों से जुड़ाव का पता चलने पर संपत्तियों को 24 घंटे में फ्रीज किए जाने की ख़बर को भी अख़बार ने प्रमुखता से प्रकाशित किया है. ख़बर के मुताबिक, केंद्र सरकार ने सभी संबंधित एजेंसियों को इस बारे में आदेश जारी किए हैं.
इसके अलावा नौसेना को मिलेगा एक और स्वदेशी विमानवाहक पोत, तेलंगाना में चुनाव प्रचार का शोर खत्म, भारतीय अंतरक्षि यात्री को प्रशिक्षित करेगा नासा और हमास ने 11 एवं इज़रायल ने 33 फिलिस्तीनियों को किया रिहा आदि ख़बरों को भी अख़बार ने पहले पन्ने पर जगह दी है.
दैनिक भास्कर की पहली ख़बर का शीर्षक है- ‘टनल खुली, जिंदगी खिली…’. ख़बर के मुताबिक, 17 दिन से चल रहे देश के सबसे बड़े रेस्क्यू ऑपरेशन में 41 मजूदरों को बचाने में कामयाबी मिली. इस रेस्क्यू मिशन मे कई बाधाएं आई. एक के बाद एक विदेशी मशीनें दम तोड़ती गईं और आखिरी में देसी तकनीक काम आई. चूहों की तरह पहाड़ खोदने वाली टीम ने हाथों से खुदाई कर मिशन को अंजाम तक पहुंचाया.
ग्रुरुग्राम में जमीन के सर्किल रेट में 10 से लेकर 87 फीसदी तक बढ़ोतरी होने की ख़बर को भी अखबार ने प्रमुखता से प्रकाशित किया है. ख़बर के मुताबिक, जिला प्रशासन ने सर्किल रेट में भारी इजाफा कर दिया है. कई गांवों की जमीन के रेट 10 से लेकर 90 प्रतिशत तक बढ़ा दिए गए हैं.
इसके अलावा अग्निवीर प्रशिक्षण ले रही युवती ने नौसेना होस्टल में की खुदकुशी, बंगाल में शुभेंदु अधिकारी विधानसभा सत्र के लिए निलंबित और आईएएस खेमका और वर्मा के विवाद की होगी जांच आदि ख़बरों को भी अख़बार ने पहले पन्ने पर जगह दी है.
जनसत्ता की पहली ख़बर का शीर्षक है- ‘अंधेरे से फूटी जिंदगी की किरण’. ख़बर के मुताबिक, 17 दिन के श्रम और सब्र के बाद सभी मजदूरों को सुरक्षित बाहर निकाल लिया गया. इसके बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बचाव अभियान से जुड़े सभी लोगों के जज्बे को सलाम किया. मजदूरों के परिजनों और वहां मौजूद लोगों ने मिठाइयां बांटी.
मणिपुर हिंसा को लेकर सुप्रीम कोर्ट के आदेश को भी अखबार ने प्रमुखता से प्रकाशित किया है. ख़बर के मुताबिक, सुप्रीम कोर्ट ने लावारिस शवों का अंतिम संस्कार जल्द करने के आदेश दिए हैं. मालूम हो कि पूर्वोत्तर राज्य में भड़की हिंसा में कई लोग मारे गए थे.
इसके अलावा आतंकी फंडिंग वाले संगठनों पर कसा जा सकेगा 24 घंटे में शिकंंजा, दूसरे स्वदेशी विमानवाहक पोत की खरीद को मंजूरी और तेलंगाना में थमा चुनाव प्रचार का शोर आदि ख़बरों को भी अख़बार ने पहले पन्ने पर जगह दी है.
अमर उजाला की पहली ख़बर का शीर्षक है- ‘17वें दिन जिंदगी में उजाला’. ख़बर के मुताबिक, शाम 7:50 बजे सबसे पहले उत्तराखंड के विजय होरी सुरंग से बाहर आए. इसके बाद 8:35 बजे आखिरी मजदूर को सुरंग से बाहर निकाला गया. इस तरह सभी मजदूरों को बाहर निकालने में कुल 45 मिनट लगे. इन्हें निकालने के लिए एनडीआरएफ के 5 सदस्य पहले सुरंग में गए और सबको निकालने के बाद वे बाहर आए.
सुप्रीम कोर्ट द्वारा दिल्ली सरकार को चेतावनी दिए जाने को भी अख़बार ने पहली सुर्खी बनाया है. ख़बर के मुताबिक, सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि उसके आदेश का आंशिक अनुपालन स्वीकार्य नहीं है. सरकार को रीज़नल रैपिड ट्रांजिट सिस्टम परियोजना के लिए पूरा भुगतान करना होगा.
इसके अलावा एनसीआर में हवा में सुधार होने के बाद ग्रैप-3 की पाबंदियां हटी, तेलंगाना में प्रचार थमा और अगले डेढ़ महीने में 3 लाख नियुक्ति पत्र बांटेंगें प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आदि ख़बरों को भी अख़बार ने पहले पन्ने पर जगह दी है.
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source https://hindi.newslaundry.com/2023/11/29/roznamcha-29-novemebr-on-uttarakhand-tunnel-rescues
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